बिहार में सूरज देवता का सितम

sumer therestyबिहार कथा
पटना। बिहार में लू के थपेड़ों से तो थोड़ी राहत मिली है लेकिन गर्मी का कहर लगातार जारी है। सुबह -शाम पुरवइया हवाओं के कारण लोगों को थोड़ी राहत तो मिल रही है लेकिन दोपहर में गर्मी का पारा चढने से लोग बेहाल हैं। बिहार के सभी जिलों में लगभग यही हाल है। शुक्रवार की शाम और शनिवार की सुबह पटना में बीच-बीच में पुरवइया हवाओं के कारण थोड़ी राहत मिली, मगर दोपहर होते-होते अधिकतम पारा ने फिर से बेहाल किया। रविवार को भी सुबह में चल रही पुरवईया हवा से लोगों ने थोड़ी राहत की सांस ली है। मौसम विभाग की मानें तो इस गर्मी से निजात तभी मिलेगी, जब मानसून के बादलों की आवाजाही शुरू होगी। विभाग के पूवार्नुमान के अनुसार सोमवार को दक्षिण-पूर्व और उत्तर-पूर्व के जिलों में हल्की बूंदाबांदी हो सकती है। बहरहाल अप्रैल, मई और मध्य जून तक हीट वेव से राहत नहीं मिलेगी। मौसम विज्ञान विभाग के निदेशक एके सेन का कहना है कि पिछले साल अल नीनो के कारण समुद्र की सतह का तापमान काफी बढ़Þ गया था। इसके कारण मानसून फेल हुआ, सर्दी का मौसम भी गर्म रहा और अब गर्मी की शुरुआत जल्दी हुई है। विभाग से मिली जानकारी के अनुसार समुद्र की सतह का तापमान ज्यादा होने के कारण पूरे देश में गर्मी ज्यादा है। अब समुद्र की सतह ठंडी हो गई है, मगर उधर से जो गर्मी आ चुकी है उसका प्रभाव वातावरण में तब तक रहेगा, जब तक मानसून ना आ जाए। मौसम निदेशक ने कहा कि आगामी दो माह की गर्मी के बारे में पूवार्नुमान लगाना आसान नहीं है। मगर, मानसून के बादल यदि समय से पहले आए तभी गर्मी से राहत मिलेगी। उन्होंने कहा कि इन सबके अलावा ग्लोबल वार्मिंग के कारण भी गर्मी बढ़Þी है।summer
शनिवार को राजधानी का अधिकतम तापमान 40.2 और न्यूनतम 25 डिग्री सेल्सियस रहा। 43.6 डिग्री अधिकतम तापमान के साथ गया राज्य का सर्वाधिक गर्म स्थान रहा। गया देश के सर्वाधिक गर्म पांच शहरों में शामिल रहा। इलाहाबाद में सबसे ज्यादा अधिकतम तापमान दर्ज किया गया। यहां अधिकतम 45.3 और न्यूनतम 25 डिग्री सेल्सियस रहा। दूसरे स्थान पर झारखंड का डाल्टेनगंज रहा जहां अधिकतम 44.3 और न्यूनतम 24.6 डिग्री सेल्सियस रहा। तीसरे स्थान पर गया रहा। इसके अलावा पश्चिम बंगाल का श्रीनिकेतन , छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर, दिल्ली सफदरजंग, जयपुर, रांची, गिरीडीह, अहमदाबाद, तिरुपति में अ अधिकतम तापमान 41 से 43 डिग्री सेल्सियस के बीच रहा।
तेज धूप से ऐसे करें बचाव
पीएमसीएच के शिशु रोग विभागाध्यक्ष डॉ एके जायसवाल ने बताया कि तेज धूप में बच्चों को बाहर निकलने ना दें। बहुत जरूरी हो तो खुद भी भरपूर पानी पीकर और हल्के सूती के कपड़े पहनकर ही बाहर निकलें। सिंथेटिक कपड़ों से लू लगने की संभावना बढ़Þ जाती है।
लू या हीट स्ट्रोक लगने के बाद तेज बुखार आता है। कभी-कभी बुखार 105 से 106 डिग्री फारेनहाइट तक हो जाता है। ऐसे बुखार में पसीना नहीं आता है। बेचैनी होती है और सांस लेने में दिक्कत महसूस होती है। बच्चों को बेहोशी छाने लगती है। मुंह सूखने लगता है। शरीर में नमक और पानी की कमी हो जाती है।
हीट स्ट्रोक होने पर तुरंत बच्चों के जरूरी कपड़े के अलावा बाकी कपड़े उतार दें। ठंडे पानी से बदन तब तक पोंछते रहें जब तक कि बुखार कम ना हो जाए। बच्चे को थोड़ी-थोड़ी देर में ओआरएस का घोल पिलाते रहें। यदि बच्चा बेहोश है तो मुंह से कुछ भी पिलाएं। मरीज को तुरंत नजदीकी डॉक्टर या अस्पताल ले जाएं।






Related News

  • ‘जो शराब पीयेगा वो तो मरेगा ही, कोई नई बात नहीं है’
  • 25 साल की उम्र में 200 साल की अंग्रेजी हुकूमत को हिला देने वाले आदिवासी योद्धा थे बिरसा मुंडा
  • बुढ़ी काली मंदिर किशनगंज : कुंवारे लड़के-लड़की को करना होता है यहां ये काम
  • बिहार में जल्‍द शुरू होगा प्रोपर्टी सर्वे; एक-एक घर, मार्केट का बनेगा रिकार्ड
  • भारतीयता मनुष्‍य बनाने की है प्रक्रिया : प्रो. रजनीश कुमार शुक्‍ल
  • गोपालगंज की हर पंचायत में जन सहयोग से पुस्कालय खोलने की प्रशासन की सकारात्मक पहल
  • अनुकंपा नौकरी में दूसरी पत्नी के बेटे को भी मिल सकती है नौकरी, लेकिन यह है शर्त
  • भादो बाद होगा बिहार में नगर निकाय चुनाव
  • Comments are Closed

    Share
    Social Media Auto Publish Powered By : XYZScripts.com