मोदी सरकार गयी तो सड़क पर आ जाएंगे पासवान

वीरेंद्र यादव
2019 के महाभारत के बिहारी मैदान की दूसरी लड़ाई भी हार गये अमित शाह। अमित शाह भाजपा के शहंशाह और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। लोकसभा में दो सीट वाले नीतीश कुमार को बराबर सीट देने की घोषणा कर शाह पहले ही घुटने टेक दिये थे और आज रामविलास पासवान को राज्यसभा भेजने की गारंटी देकर औंधे मुंह गिर गये।
नीतीश कुमार और रामविलास पासवान दोनों ‘कुर्सी वैज्ञानिक’ हैं। कुर्सी के गढ़ने, बनने और बचाने का फार्मूला जानते हैं। पासवान और कुर्सी के बीच अन्योनाश्रित संबंध है। एक-दूसरे के बिना नहीं रह सकते हैं। मौके का परिभाषा गढ़ना जानते हैं। नीतीश कुमार कुर्सी की गारंटी पर ‘अंतरात्मा’ जगा सकते हैं, लालू को छोड़ सकते हैं तो कुर्सी पर संकट आने पर कितनी देर भाजपा को ‘ढो’ सकते हैं?
चुनाव के बाद मोदी सरकार की विदाई हुई तो पासवान के लिए राज्यसभा का दरवाजा भी बंद जाएगा। पासवान के लिए यह जोखिम का सौदा है, पर भाजपा-पासवान के लिए इसके अलावा कोई चारा नहीं है।






Related News

  • मोदी को कितनी टक्कर देगा विपक्ष का इंडिया
  • राजद व जदयू के 49 कार्यकर्ताओं को मिला एक-एक करोड़ का ‘अनुकंपा पैकेज’
  • डॉन आनंदमोहन की रिहाई, बिहार में दलित राजनीति और घड़ियाली आंसुओं की बाढ़
  • ‘नीतीश कुमार ही नहीं चाहते कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिले, वे बस इस मुद्दे पर राजनीति करते हैं’
  • दाल-भात-चोखा खाकर सो रहे हैं तो बिहार कैसे सुधरेगा ?
  • जदयू की जंबो टीम, पिछड़ा और अति पिछड़ा पर दांव
  • भाजपा के लिए ‘वोट बाजार’ नहीं हैं जगदेव प्रसाद
  • नड्डा-धूमल-ठाकुर ने हिमाचल में बीजेपी की लुटिया कैसे डुबोई
  • Comments are Closed

    Share
    Social Media Auto Publish Powered By : XYZScripts.com