यादव से ज्यादा लालू को वैश्य पर भरोसा

लालू ने करीबी को सौंपी बिहार राजद की कमान, पूर्वे बनेंगे प्रदेश अध्‍यक्ष

पटना। राजद के वरिष्ठ नेता व पार्टी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के करीबी डॉ. रामचंद्र पूर्वे को पार्टी के प्रति समर्पण का पुरस्कार मिलना लगभग तय हो गया है। शनिवार को नामांकन एवं स्क्रूटनी के बाद एकमात्र दावेदार रहने के कारण साफ हो गया कि लगातार चौथी बार उन्हें ही प्रदेश राजद की कमान मिलेगी। रविवार शाम तक नाम वापसी की आखिरी मियाद भी पूरी हो गई। हालात के मुताबिक अब सिर्फ घोषणा भर बाकी है। राष्ट्रीय सहायक निर्वाचन पदाधिकारी चितरंजन गगन के मुताबिक नए प्रदेश अध्यक्ष के निर्वाचन का विधिवत ऐलान छह नवंबर को किया जाएगा। वैश्य समुदाय से आने वाले रामचंद्र पूर्वे को लालू प्रसाद ने पहली बार प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेवारी 2010 में तब सौंपी थी, जब निर्वाचित अध्यक्ष अब्दुल बारी सिद्दीकी को विधायक दल का नेता बना दिया गया था। इसके बाद 2013 और जनवरी 2016 में पूर्वे दो बार लगातार निर्विरोध जीतते रहे। इस बार उनकी चौथी पारी है, जबकि तीसरी बार निर्विरोध जीत होगी।

पूर्वे की पकड़ अपने समुदाय के साथ-साथ अन्य पिछड़े वर्गों में भी अच्छी मानी जाती है। यही कारण है कि लालू उन्हें इस बार भी पार्टी के दायित्वों से मुक्त करने के पक्ष में नहीं हैं।
पूर्वे क्यों हैं लालू के करीबी 
कर्पूरी ठाकुर के जमाने से सक्रिय समाजवादी नेता रहे पूर्वे राजद की पूर्व सरकारों में शिक्षा और संसदीय कार्य मंत्री भी रह चुके हैं। वह राजद के संस्थापक सदस्यों में हैं। 1997 में जब लालू प्रसाद जनता दल से अलग होकर खुद की टीम बना रहे थे तो पूर्वे को नई पार्टी का ड्राफ्ट तैयार करने की जिम्मेवारी दी गई थी। आगे भी वह लालू के विश्वस्त बने रहे।
चारा घोटाले में लालू के जेल जाने की जब नौबत आई तो राबड़ी देवी के साथ नई सरकार में शपथ लेने वाले पूर्वे एकमात्र मंत्री थे। शेष मंत्रिमंडल का विस्तार बाद में हुआ था। सरकार में पूर्वे का ओहदा भी इस प्रकार तय किया गया कि वह सदन में मुख्यमंत्री की हिफाजत करें। उन्हें संसदीय कार्य मंत्री बनाया गया था।
ये बने प्रस्तावक 
पूर्वे ने शनिवार को राज्य निर्वाचन पदाधिकारी डॉ. तनवीर हसन के समक्ष दो सेटों में पर्चा भरा। दोनों सेटों में राज्य परिषद के 10-10 सदस्य प्रस्तावक बने। पहले सेट में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव, आलोक मेहता, प्रो. चंद्रशेखर, भोला यादव, शक्ति सिंह यादव, मो. नेमतुल्लाह, नवाज आलम, सुबोध कुमार एवं पूर्व सांसद रामजी मांझी के हस्ताक्षर हैं। दूसरे सेट में विधायक राजेंद्र राम, रेखा पासवान, स्वीटी सीमा हेम्ब्रम, एज्या यादव, रणविजय कुमार सिंह, राजनीति प्रसाद, सुधांशु शेखर भास्कर, रामचंद्र सहनी, अशोक कुमार एवं हुंमायू अख्तर के हस्ताक्षर हैं।






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