वाहवाही लूटने के लिए तथाकथित पत्रकारों ने सृजन कर दिया नये पदनाम
-
bihar media logo symbolic
संजीव कुमार सिंह
- चाटुकारिता की हद हो गयी… वाहवाही लूटने के लिए पत्रकारिता में तथाकथित पत्रकारों ने नये पदनाम का कर दिया सृजन… पत्रकारिता में इन दिनों चाटुकारिता की हद हो गयी है। तथाकथित पत्रकारों की भूमिका ने पत्रकार नाम पर एक से बढ़कर एक तरकीब निकाल लिए है। इन दिनों बिहार में एक ऐसे पत्रकारों का गिरोह उत्पन्न हुआ है जिसने एक दशक से फोटोग्राफर का काम किया है। अखबारों में रूटीन खबर देने के काम से मुंह मोड़ रहे पत्रकारों के बदले इन दिनों खबरनबीसों की कमी को झेल रहे विभिन्न दैनिक अखबारों में अब रिपोर्टर का काम करने वाले इन पत्रकारों ने विभिन्न पदनाम का सृजन किया है। आए दिन आप अखबारों की खबर में पढ़कर दंग रह जायेंगे कि ये कैसा पदनाम है। जी हॉं हम फोकस कर रहे हैं ऐसे ही पदनाम पर जिसे पढ़़कर आप भी दंग रह जायेंगे। वार्ड पार्षद पति, मुखिया पति, प्रखंड प्रमुख पति व समाजसेवी, प्रखंड प्रमुख पुत्र व पतिनिधि, जिला पार्षद पति, सरपंच पति, पंचायत समिति सदस्य पति व समाजसेवी, ये ऐसे पदनाम है, जिसका सृजन पत्रकारिता के नवउदयमान पत्रकारों ने किया है। लेकिन आश्चर्य की बात यह है कि इन पत्रकारों द्वारा भेजे जा रहे खबरों को रिराईट करने वाले हमारे ब्यूरो चीफ एवं संपादक स्तर के अधिकारी भी न तो हटा पा रहे है और न ही ऐसे पत्रकारों को हिदायत ही कर पा रहे है । इससे एक ओर पत्रकारिता का स्तर गिर रहा है तो दूसरी ओर ऐसे खबरों को पढ़ने के बाद लोग अखबारों की चर्चा करने से भी बाज नहीं आ रहे है। मुझे तो डर इस बात का है कि कहीं बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद एवं राबड़ी देवी की खबर लिखते वक्त ये तथाकथित पत्रकार पूर्व मुख्यमंत्री पति या पत्नी लिखकर संबोधन न कर दें। ( संजीव कुमार सिंह, संपादक आईना समस्तीपुर मासिक पत्रिका)
« एक घंटे का सफर तय कर महानगरों में 8 से 10 घंटे काम करती हैं महिलाएं (Previous News)
(Next News) मेहनत कश लोगों की आवाज बुलंद करने की जरूरत »
Related News

महाकुंभ में साकार है भारत
महाकुंभ में साकार है भारत। दिलीप मंडल महाकुंभ इतना विशाल है कि इसके अंदर कईRead More

इसलिए कहा जाता है भिखारी ठाकुर को भोजपुरी का शेक्सपियर
स्व. भिखारी ठाकुर की जयंती पर विशेष सबसे कठिन जाति अपमाना / ध्रुव गुप्त लोकभाषाRead More
Comments are Closed