तीन लाख आवादी के साथ खिलवाड़ कर रही है बिहार सरकार, सब्र का बांध टुटा तो किया महाजाम – डाॅ. धमेंद्र
तीस वर्षों से चकाई के लोगों द्वारा की जा रही है अनुमंडल बनाने की मांग
चकाई/चंद्रमंडीहःजमुई। – चकाई जनसंर्घष मोर्चा के तत्वाधान में पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत रविवार को छह सूत्री मांगों को लेकर चकाई चैराहे के समक्ष सड़क महाजाम किया गया। साढ़े पांच घंटे तक सड़क जाम का नजारा ऐसा था कि जाम में फंसे लोग पानी-पानी के लिये त्राहिमाम करते नजर आये। चकाई से बासुकीटांड़ लगभग पांच किलोमीटर तक सड़क महाजाम का नजारा देखने को मिल रहा था। अनुमंडल की मांग को लेकर चकाई वासियों में इस तरह जोश और जुनून देखने को मिल रहा था कि आज ही अनुमंडल का दर्जा यहां के लोग हासिल करके ही रहेगें। जाम स्थल पर मौजूद लोगों को संबोधित करते हुये चकाई जनसंघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष डाक्टर धमेंद्र सिंहा ने कहा कि धैर्य का बांध टुटा तो महाजाम पर उतर गया। तीस वर्षो से चकाई को अनुमंडल बनाने की मांग चकाई वासियों द्वारा की जा रही है लेकिन बिहार सरकार आज तक कान में तेल डालकर सोई हुई है। चकाई के लोगों में खुशी तब हुई जब पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी द्वारा चकाई को अनुमंडल बनाने की घोषणा तथा अनुमंडल बनाने को लेकर कागजी खानापूर्ति होने पर चकाई के लोगों में खुशी की लहर दौड़ गयी। यहां तक की बातें हवा की तरह फैलने लगी कि चकाई अनुमंडल की घोषणा जमुई जिला के स्थापना दिवस पर जमुई में की जायेगी। लेकिन रहत बांस ना बाजत बांसुरी में सारा काम चैपट हो गया। कुर्सी के खेल में जीतनराम मांझी को मुख्यमंत्री की कुर्सी से हटना पड़ा और इस कुर्सी पर काबिज होते ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जीतनराम मांझी के सारे घोषणाओं को रद्द कर दिया। तब इस बात को जानकर चकाई वासी काफी दुखी हुये। उन्होने यह भी कहा कि चकाई को अनुमंडल बनाने के लिये भाजपा के पूर्व विधायक स्र्वगीय फाल्गुनी प्रसाद यादव मरणोपरांत तक अनुमंडल की मांग करते रहे। जब श्री यादव की अंतंेष्ठी में शरीक होने चकाई आये मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने कहा था फाल्गुनी जी के सपनों को अवश्य साकार करेगें और चकाई को अनुमंडल का दर्जा मिलेगा। छह सूत्री मांगों में चकाई को अविलंब अनुमंडल घोषित करें, प्रस्तावित रेल लाईन की मंजूरी हेतू राशि आवंटित की जाय, माधोपुर एंव सरौन को प्रखंड का दर्जा दिया जाय, चकाई में एक केंद्रीय विद्यालय की स्थापना की जाय तथा चकाई एंव सोनो के बचे हुये गांवों में तीन माह के अंदर बिजली पहुंचायी जाय। सभी लोग यह छह सूत्री मांगों को समर्पित करने के लिये डीएम की मांग कर रहे थे लेकिन जामकर्ताओं का सपना तब समाप्त हो गया जब चकाई के विधायक सुमित कुमार सिंह जाम स्थल पर पहुंचकर महांजाम को तुड़वा दिये। वक्ताओं में वयोवृद्ध नेता नित्यानंद राय, पूर्व उप प्रमुख दिनेश पासवान, जयनंदन प्रसाद, चंदन शुक्ला, रंजीत वर्मा , संजय वर्मा के अलावे सभा में सैंकड़ो लोग मौजूद थे।
हम चकाई वासियों के साथ मर मिटने को तैयार- विधायक
चकाई भ्रमण के दौरान जब विधायक सुमित कुमार सिंह चकाई चैराहे पर पहुचे तो वहां देखा कि सड़कों पर गाडि़यों की कतार लगी हुई है लेकिन सड़क महाजाम के बारे में उनको भी इस बात की जानकारी थी। अपनी गाड़ी से उतरते ही जाम स्थल पर मौजूद लोगों के बीच विधायक पहुंचे और लोगों से कहने लगे कि सड़क जाम करने से लोगों की आवश्यकतायें पूर्ण नही होती है। हमलोग सभी मिलकर अनुमंडल के लिये संघर्ष करेगें तभी मुकाम तक पहुंचा जा सकता है। सड़क जाम करने से नही। उन्होने लोगों से कहा कि चकाई वासियों के लिये हर समय मर मिटने को तैयार हूं। इासी बात पर तालियों की गड़गडाहट के बीच महाजाम टुट गया जिससे जाम में फंसे लोग अपने -अपने गणतब्य की और जाने लगे। मौके पर जिला परिषद अध्यक्ष राजेंद्र यादव, जदयू नेता रंजीत राय, गुल्टु तिवारी, राजेश सिह, मंटु उपाध्याय, संजीव केशरी, दिवाकर चैधरी के अलावे दर्जनो जदयू कार्यकर्ता साथ-साथ चल रहे थे।
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